Pragati Path Par Bharat “प्रगति-पथ पर भारत” Hindi Essay 300 Words, Best Essay, Paragraph, Anuched for Class 8, 9, 10, 12 Students.

प्रगतिपथ पर भारत

Pragati Path Par Bharat

प्राचीन काल में भारत विश्व में सोने की चिड़िया कहलाता था। यह आज भी शक्तिशाली है और विश्व गुरु के पद पर आसीन है। आज भी पूरे विश्व को यह अपने अक्षयज्ञान कोश से कुछ न कुछ दे रहा । है। वेद काल से लेकर इक्कीसवीं शताब्दी तक यह निरन्तर उन्नति कर रहा है। स्वतंत्रता से पूर्व यह उन्नति रुक गई थी लेकिन स्वतंत्रता के बाद पंचवर्षीय योजनाओं के बल पर यह फिर तरक्की कर रहा है। इसने प्रत्येक क्षेत्र में प्रगति की है। यह लोकतांत्रिक देश है। स्वतंत्रता के बाद देश का लोकतंत्र सशक्त हुआ है। भारत की सांस्कृतिक एकता सुदृढ़ है। यहाँ एकता में अनेकता है, यहाँ मिश्रित संस्कृति है। विश्व के किसी भी देश में ऐसी संस्कृति नहीं है। यह धर्मनिरपेक्ष देश है। यह विज्ञान के क्षेत्र में निरन्तर उन्नति करता जा रहा है। स्वतंत्रता प्राप्ति से पहली शताब्दी का भाग अधिकतर विशुद्ध अनुसंधान से संबंधित रहा है। स्वतंत्रता प्राप्त करने के समय हमारा वैज्ञानिक व तकनीकी ढाँचा विकसित विश्व की तुलना में न तो सुदृढ़ था और न ही व्यवस्थित। हम अन्य देशों पर तकनीकी के लिए निर्भर थे, लेकिन अब बात ऐसी नहीं है। आज देश ने अपनी आवश्यकताओं की पूर्ति के लिए एक समर्थ ढाँचा तैयार कर लिया है। हम परमाण बम बना चुके हैं। अंतरिक्ष में मंगलयान छोड़ चुके हैं। चिकित्सा के क्षेत्र में भारत ने अद्वितीय उन्नति की है। हम हृदयारोपण और किडनी प्रत्यारोपण में अन्य देशों से आगे हैं। कृषि अनुसंधान में बहुत आगे हैं। कृषि विश्वविद्यालय भारत को नए कषि वैज्ञानिक दे रहा है। आज हमें अमेरिका या अन्य देशों से अनाज मँगवाना नहीं पड़ता अपितु हम ही विश्व में भेज रहे हैं। भारत ने पूरे देश के गाँव-गाँव, शहर-शहर बिजली, यातायात, पानी पहुँचाने में सफलता प्राप्त कर ली है। मनोरंजन के क्षेत्र में भारत बहुत आगे हैं। सीमा सुरक्षा वैज्ञानिक रीति से कर रहा है। भारतीय वैज्ञानिक संस्था की कृपा से भारतीय उद्योग में देश ने उन्नति की है। भारत विज्ञान के प्रत्येक क्षेत्र में उन्नति कर रहा है। यह उन्नति निरन्तर जारी है।

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