क्रिसमस
Christmas
प्रत्येक धर्म के कुछ मुख्य त्योहार होते हैं जो उस धर्म के इतिहास से जुड़े हुए। होते हैं। ये त्योहार उस धर्म के रीति-रिवाज भी बताते हैं। हिंदुओं के मुख्य त्योहारों में है दीपावली, मुसलमानों का ईद और इसी तरह ईसाइयों का मुख्य त्योहार है क्रिसमस।
क्रिसमस का त्योहार, ईसाइयों के भगवान ईसा मसीह के जन्म के उपलक्ष्य में मनाया जाता है। इसाई धर्म के अनुसार 25 दिसंबर को एक गोशाला में ईसा मसीह का जन्म हुआ।
क्रिसमस का त्योहार विश्व में कई जगहों पर बहुत धूम-धाम से मनाया। जाता है। गिरजाघरों में विशेष प्रार्थना सभाओं का आयोजन किया जाता है। घरों में क्रिसमस-ट्री को सजाया जाता है। इस दिन एक व्यक्ति सांता क्लॉज बनकर बच्चों को उपहार भी बाँटता है।
ईसा मसीह ने अपने जीवन में अनेक बेसहारों को सहारा दिया और उन्हें पीड़ामुक्त किया। हमें उनका उपदेश मानकर अपने आसपास के लोगों की सहायता करनी चाहिए और भाईचारा बढ़ाना चाहिए।
क्रिसमस
Christmas
25 दिसम्बर को पूरे विश्व में क्रिसमस का त्योहार मनाया जाता है। इसी दिन ईसा मसीह का जन्म हुआ था। इस दिन अच्छे-अच्छे कपड़े पहन कर लोग चर्च में प्रार्थना करने जाते हैं। यह आनन्द मनाने और समारोह का समय होता है। लोग खरीदारी करते हैं, उपहार बांटते हैं और केक बनाते, खाते और खिलाते हैं।
त्योहार का आयोजन क्रिसमस से कुछ दिन पूर्व ही प्रारम्भ हो जाता है। और क्रिसमस से एक दिन पूर्व सायं तक यह अपनी चरम सीमा पर पहुँच जाता है। लोग क्रिसमस की पूर्व संध्या पर सामूहिक गान गाते हैं और एक-दूसरे के घर जाते हैं। क्रिसमस की पूर्व संध्या पर चर्च (गिरजाघरों) में सामूहिक प्रार्थनायें होती हैं।
गिरजाघरों में ईसा मसीह के जीवन की घटनाओं का चित्रण किया जाता है और उससे सम्बन्धित गीत गाये जाते हैं। कई जगह मेले लगाये जाते हैं और दुकानों को नये ढंग से सजाया जाता है। ईसाई लोग अपने घरों को सजाते हैं और बिजली के रंग-बिरंगे बल्ब जलाते हैं। बाज़ारों, गिरजाघरों और होटलों को भी सजाया जाता है और रोशनी की जाती है। घरों में ‘क्रिसमस ट्री’ को भी सजाये जाने का प्रचलन है।
इस अवसर पर परिवार इकट्ठे होकर समारोह मनाते हैं। हालांकि क्रिसमस ईसाइयों का त्योहार है मगर आज विश्व में सभी इसे मनाते हैं और इस दिन खुशियों के गीत गाते हैं।